बरेली में कांवड़ियों पर लाठीचार्ज मामले में एसएसपी प्रभाकर चौधरी पर गिरी गाज - लाठीचार्ज करने वाले इंस्पेक्टर और चौकी इंचार्ज भी सस्पेंड
बरेली में रविवार को पुलिस द्वारा कावड़ियों पर लाठीचार्ज के मामले में शासन ने गम्भीरता से लेते हुए रविवार रात को बरेली के एसएसपी प्रभाकर चौधरी को हटाकर लखनऊ में पीएसी भेजा दिया गया है। एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने बरेली में 5 महीने रहेक्षहैं। अब सीतापुर के एसपी घुले सुशील चंद्रभान को बरेली का नया एसएसपी बनाया गया है। बरेली में सावन के चौथे सोमवार को भगवान शिव का जलाभिषेक करने के लिए कांवड़ियों का जत्था कछला घाट जाते हैं। कांवड़िए जोगी नवादा के एक रास्ते से कांवड़ ले जा रहे थे। तभी दूसरे समुदाय के लोग इसे नई परंपरा बताकर विरोध करने लगे हंगामा कर दिया। कुछ मुस्लिम समुदाय के लोगों ने आरोप लगाया कि कांवड़ियों ने यहां नूरी मस्जिद के सामने हंगामा किया। डीजे बजाकर नारेबाजी की है इस दौरान कुछ लोगों ने हवाई फायरिंग कर माहौल बिगाड़ने का प्रयास किया। पुलिस ने दोनों पक्षों के लोगो को समझाया। डीएम शिवाकांत द्विवेदी और एसएसपी प्रभाकर चौधरी कांवड़ियों को समझाने में लगे रहे थे। स्थिति को देखते हुए मौके पर आरएएफ और पुलिस लगा दी गई। दोनों पक्षों से वार्ता की गई। स्थिति बिगड़ता देख कांवड़ियों ने नारेबाजी की तो पुलिस ने लाठी चार्ज कर दिया। जिसकी वीडियो भी सामने आई है। 23 जलाई को भी कांवड़ यात्रा में मुस्लिम समुदाय ने पथराव किया गया था।
बरेली के बारादरी, जोगी नवादा के संतोष कुमार, राहुल सिंह, नीरज गंगवार ने बताया कि हम हर साल सावन माह के सोमवार के लिए डाक कांवड़ लाते हैं। बारादरी से जोगी नवादा होते हुए शहर से निकलकर बदायूं रोड से कछला घाट पहुंचते हैं। उसके बाद गंगा जल लेकर वापस बरेली आते हैं।
कांवड़ियों का कहना है कि हमारे वाहन पर शोभायात्रा में शिव और पार्वती की मूर्तियां थीं। इस दौरान जोगी नवादा में शाह नूरी मस्जिद के पास मुस्लिम समुदाय के लोगों ने कहा कि कांवड़ में डीजे नहीं बजने देंगे। इस पर कांवड़ियों ने कहा कि यह हमारा मुख्य रूट है। हर साल कांवड़ में डीजे बजाया जाता है। इस साल क्यों नहीं घुसने दिया जाएगा।
इस पर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने विरोध किया कि मस्जिद के पास डीजे नहीं बजाया जा जा सकता। इस पर हंगामा हो गया। कांवड़ियों ने नारेबाजी करते हुए हंगामा कर दिया। मौके पर ही कांवड़िए धरने पर बैठ गए। सूचना पर एडीएम और एसपी सिटी भी पहुंचे। पुलिस के साथ आरएएफ को भी बुलाया गया। सांप्रदायिक तनाव की सूचना पर डीएम शिवाकांत द्विवेदी और एसएसपी प्रभाकर चौधरी भी फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। कांवड़ियों ने कहा कि हमारा पुराना रूट है। कोई नई परंपरा नहीं है। लेकिन, दूसरे समुदाय के लोगों ने डीजे रोका और विरोध करते हुए धमकियां देने लगे। फिर डीएम और एसएसपी ने कांवड़ियों को समझाया।
लेकिन, कांवड़िए डीजे बजाने पर अड़े रहे। फिर पुलिस ने कांवरियों पर लाठीचार्ज कर दिया। कावड़ियों पर लाठीचार्ज को शासन ने गंभीरता से लिया और लाठीचार्ज करने वाले इंस्पेक्टर बारादरी अभिषेक सिंह और चौकी इंचार्ज जोगी नवादा अमित कुमार को भी रात में ही निलंबित कर दिया और एसएसपी प्रभाकर चौधरी को हटा दिया । यह सारी घटना थाना बारादरी क्षेत्र में हुई। जिस समय डीएम और एसएसपी कांवड़ियों को समझा रहे थे, तभी कुछ दूरी पर इंस्पेक्टर बारादरी ने फोर्स के साथ लाठीचार्ज कर दिया। पुलिस की लाठीचार्ज में कुछ कांवड़िय और महिलाएं बच्चे घायल हो गए थे शासन ने गंभीरता से लिया । कावड़ियों पर पुलिस की लाठीचार्ज से हिंदू संगठन और शिव भक्त भी नाराज थे। भक्तों की नाराजगी को देखते हुए योगी सरकार ने रविवार रात को ही बरेली के एसएसपी का ट्रांसफर कर दिया गया।